पटना से नई दिल्ली के लिए तेजस के डिब्बों के साथ राजधानी एक्सप्रेस बुधवार से शुरू हुई। यह ट्रेन पटना राजधानी एक्सप्रेस के नाम, नंबर और समय-सारिणी के आधार पर ही चली। इसका डिब्बा अब राजधानी की बजाय तेजस का ही रहेगा। बुधवार को राजेंद्र नगर टर्मिनल स्टेशन से सीपीआरओ राजेश कुमार व अन्य वरीय अधिकारियों ने इसे रवाना किया।
पहले दिन लगभग 1100 लोगों ने इस ट्रेन में यात्रा की। सीपीआरओ राजेश कुमार ने बताया कि यात्री सुरक्षा बढ़ाने के उद्देश्य से कोच में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस आधारित स्मार्ट फीचर्स लगाए गए हैं। स्मार्ट एनाउंसिंग सिस्टम से यात्रियों को आनेवाले स्टेशनों, अगले स्टेशन की दूरी, विलंब और सुरक्षा संबंधी संदेश आदि सुविधाएं मिलेंगी। उन्होंने बताया कि सफाई में सुविधा के लिए सभी कोचों में पर्दे की जगह रोलर ब्लाइंड और कंपार्टमेंट में एक डस्टबिन लगाए गए हैं। कोच में बायो वैक्यूम टॉयलेट लगाए गए हैं। इससे बेहतर सफाई के साथ पानी की भी बचत होगी। शिशु के साथ यात्रा कर रही महिला यात्रियों की सुविधा के लिए शौचालय में इंन्फैंट केयर सीट भी लगाया गया है।
अपग्रेडेड रैक वाली दूसरी राजधानी
राजेंद्र नगर टर्मिनल (पटना)-नई दिल्ली ट्रेन विशेष तेजस प्रकार के स्मार्ट कोच के साथ चलने वाली दूसरी राजधानी एक्सप्रेस बन गई है। रेलवे ने कहा कि स्मार्ट कोच का मकसद यात्रियों को विश्व स्तरीय सुविधाएं प्रदान करना है। तेजस डिब्बों में हर यात्री के लिए मोबाइल फोन चार्जिंग पॉइंट मुहैया कराए गए हैं तथा हर बर्थ पर रीडिंग लाइट की भी सुविधा दी गई है। रेलवे ने कहा कि ऊपरी बर्थ पर चढ़ने की व्यवस्था को सुविधाजनक बनाया गया है। रेलवे ने कहा कि सभी डिब्बों के मुख्य गेट गार्ड द्वारा केंद्रीकृत तरीके से नियंत्रित होंगे। जब तक सभी गेट बंद नहीं हो जाते, ट्रेन आगे नहीं बढ़ेगी। डिब्बों में यात्री सूचना और कोच कंप्यूटिंग यूनिट (पीआईसीसीयू) भी होगी।
प्रत्येक कोच के अंदर दो एलसीडी स्क्रीन के साथ यात्री घोषणा और सूचना प्रणाली भी है जिसमें अगला स्टेशन, शेष दूरी, आगमन का अपेक्षित समय, सुरक्षा संबंधी संदेश जैसी यात्रा संबंधी जानकारी दी जाएगी। प्रत्येक कोच में छह कैमरे लगे हैं जो लाइव रिकॉर्डिंग करते हैं। सभी डिब्बों में स्वचालित फायर अलार्म भी लगाया गया है। चिकित्सा या सुरक्षा आपात स्थिति के लिए आपातकालीन टॉकबैक भी प्रदान किया गया है।