किसी की मासूमियत से भीग सा गया......
आज की बरसात में सिर्फ मेरा जिस्म ही नहीं बल्कि दिल भी किसी की मासूमियत से भीग सा गया...
मैं देखता रहा उसे और वक्त कहीं थम सा गया,
वो झूम रही थी बरसात में और मैं उसे देखकर बस वहीं जम सा गया
आज की बरसात में सिर्फ मेरा जिस्म ही नहीं बल्कि दिल भी...
ज़िन्दगी की एक शाम फिर तेरे नाम करते हैं
ज़िन्दगी की एक शाम फिर तेरे नाम करते हैं
हाँ, हम तुझसे अब भी प्यार करते हैं...
तेरी यादों में नींद नहीं आती रातों को,
सारी रात करवटें बदलते हैं...
तू आज आयी है फिर से पास मेरे मुझसे क्या पूछेगी...
क्या अपने ही दिए गए जख्मों की दास्ताँ मेरी जुबानी सुन सकेगी?
या फिर सुनेगी वही...
तुझसे प्यार था, प्यार है और प्यार रहेगा...
तू चली गयी मुझे छोड़कर न जाने क्यों ?
मगर अब सोचती है तेरे सारे नखरे अब कौन सहेगा...
तेरी बेमतलब की की गई बातें अब कौन सुनेगा?
झगड़े के बाद तेरी गलती होते हुए भी 'सॉरी बाबू आगे से ऐसा नहीं करूँगा' कौन कहेगा?
तुझसे प्यार था, प्यार है और प्यार रहेगा...
माना की मैं तेरे...